चल इक सौदा करते हैं
जो पास खजाना है दोनों के,
आधा-आधा करते हैं
तू धूप सुनहरी ले आना
मैं बरसातें ले आऊंगा
कुछ नजरानों के बदले में
कुछ सौगातें ले आऊंगा
मैं तेरी पतझड ले लूंगा
तू मेरी बहारें रख लेना
मैं तेरे अंधेरें पी लूंगा
तू मेरे सितारें रख लेना
हर दर्द उठा लूंगा तेरा
मेरी मुस्कानें रख लेना
गा लूंगा तेरी चुप्पी भी
तू मेरे तरानें रख लेना
मैं तेरी आँधियाँ झेलूंगा
तू मेरी हवाएँ रख लेना
मैं तेरी बलाएँ ले लूंगा
तू मेरी दुआएँ रख लेना
तनहाई अपनी दे देना
पर मेरी सोहबत रख लेना
नफरत भी देना, फिकर नही
पर मेरी मोहब्बत रख लेना
तू जो बोले दिल, दे देना
तू जो बोले दिल, रख लेना
मंजूर मुझे है सौदा, बस..
दिल के बदले दिल रख लेना
- अनामिक
(२५-३०/११/२०१७)
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें