कर लिये गप्पें बहोत, ढलने लगी है रात भी
चल सखी कर ले जरासी जिंदगी की बात भी
चल सखी कर ले जरासी जिंदगी की बात भी
चुटकुलें, किस्सें, संदेसें बहोत भेजे, पढ लिये
चल जरा पढ ले निगाहों में लिखे जज़बात भी
चल जरा पढ ले निगाहों में लिखे जज़बात भी
इत्र, गुलदस्तें, खिलौनें.. दे चुके तोहफें कई
पेश करके देख ले दिल की हसीं सौगात भी
पेश करके देख ले दिल की हसीं सौगात भी
चल चुके चालें कई इस इश्क की शतरंज में
जीतने अब दाँव खा ले मुस्कुराकर मात भी
जीतने अब दाँव खा ले मुस्कुराकर मात भी
हमराह बनने की पहल कब तक इशारों में करे ?
चल बढाए अब कदम, कर ले नयी शुरुआत भी
चल बढाए अब कदम, कर ले नयी शुरुआत भी
- अनामिक
(२४-२९/०२/२०१६)
(२४-२९/०२/२०१६)